From: Raj Mehta
जब कृष्ण अंतिम कोशिश के रूप में
शांति संधि के लिए हस्तिनापुर जा रहे थे
तो द्रोपदी ने बड़ी ही व्याकुलता से
कृष्ण से पूछा था कि केशव, तो अब युद्ध नहीं होगा
कृष्ण ने उस समय द्रोपदी से कहा था
तुम मुझ से ज्यादा दुर्योधन पर विश्वास रखो
वो मेरी हर कोशिश को नाकाम कर देगा
इसलिए, हे द्रोपदी, निश्चिंत रहो, युद्ध तो होगा ही
शांति संधि के लिए हस्तिनापुर जा रहे थे
तो द्रोपदी ने बड़ी ही व्याकुलता से
कृष्ण से पूछा था कि केशव, तो अब युद्ध नहीं होगा
कृष्ण ने उस समय द्रोपदी से कहा था
तुम मुझ से ज्यादा दुर्योधन पर विश्वास रखो
वो मेरी हर कोशिश को नाकाम कर देगा
इसलिए, हे द्रोपदी, निश्चिंत रहो, युद्ध तो होगा ही
तो है भारती पुत्रों आप सब भी
नरेंद्र मोदी से ज्यादा
पाकिस्तान पर विश्वास रखो
युद्ध तो होगा ही...
नरेंद्र मोदी से ज्यादा
पाकिस्तान पर विश्वास रखो
युद्ध तो होगा ही...
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SOURCE ; VIA GP E-MAIL FROM BHARAT BHUSHAN GHAI)
Please give it in English
ReplyDeleteAs understood, it means howsoever I may try, it depends on wisdom of another.
DeleteThis reply of Krishna was in response to a question of Draupdi, when he was attempting last for peace. But moot is, if Krishna was prepared for war
When Shri Krishna was going for last ditch negotiation with Duryodhana to avoid war. Draupti asked about possibility of war. Shri Krishna replied every effort of his will be neutralized by Duryodhana and definitely war will prevail against all peaceful negotiation.
ReplyDeleteDev saab Namaste.A small sentences from me.Dhuryodhan was atleast a honest rougue.He at least kept up his words for his friend Karna like friend in need .What about our political culprits who rule this nation after giving false pre poll promises
ReplyDeleteIf war is inevitable, so be it. But Pakistan will have to pay for their sins.
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